सिसस क्वाड्रांगुलरिस क्या है और यह हड्डियों की घनत्व को कैसे बढ़ाता है?

आज की तेज़ रफ़्तार ज़िंदगी में हड्डियों और जोड़ों की समस्याएँ आम हो गई हैं। पहले यह समस्याएँ बुजुर्गों तक सीमित थीं, लेकिन अब युवा और मध्यम आयु वर्ग के लोग भी घुटनों के दर्द, हड्डियों की कमजोरी और ऑस्टियोपोरोसिस जैसी दिक़्क़तों से परेशान रहते हैं। इसका एक बड़ा कारण है असंतुलित आहार, शारीरिक गतिविधि की कमी और बढ़ती उम्र के साथ हड्डियों की घनत्व का कम होना।
इन्हीं समस्याओं से निपटने के लिए प्राकृतिक उपायों की खोज होती रही है। ऐसा ही एक औषधीय पौधा है सिसस क्वाड्रैंगुलरिस (Cissus Quadrangularis), जिसे आयुर्वेद में “हड़जोड़” या “अस्थिसंधानक” कहा जाता है। सदियों से इसका इस्तेमाल हड्डियों की मरम्मत, घनत्व बढ़ाने और फ्रैक्चर के इलाज में किया जाता रहा है।
इस ब्लॉग में हम विस्तार से जानेंगे कि सिसस क्वाड्रैंगुलरिस क्या है, यह हड्डियों की घनत्व कैसे बढ़ाता है, इसके फायदे, वैज्ञानिक प्रमाण, सुरक्षित सेवन और सर्वोत्तम सप्लीमेंट्स कौन से हैं।
सिसस क्वाड्रैंगुलरिस क्या है?
सिसस क्वाड्रैंगुलरिस एक आयुर्वेदिक औषधीय पौधा है जो बेल के रूप में पाया जाता है। इसका वैज्ञानिक नाम Cissus Quadrangularis है और अंग्रेज़ी में इसे “Veldt Grape” भी कहा जाता है।
- आयुर्वेद में इसे हड़जोड़ कहा जाता है क्योंकि यह टूटी हड्डियों को जोड़ने में सहायक माना जाता है।
- संस्कृत में इसे “अस्थिसंधानक” कहा गया है, जिसका अर्थ है “हड्डियों को जोड़ने वाला”।
- इस पौधे की डंठल (stem) में पाए जाने वाले तत्व जैसे कैल्शियम, विटामिन C, कैरोटीनॉइड्स और फाइटोस्टेरॉल्स हड्डियों को मज़बूती देते हैं।
सिसस क्वाड्रैंगुलरिस हड्डियों की घनत्व कैसे बढ़ाता है?
हड्डियों की घनत्व (Bone Density) का मतलब है हड्डियों में मौजूद खनिज (Minerals) जैसे कैल्शियम और फॉस्फोरस की मात्रा। उम्र बढ़ने, पोषण की कमी और हार्मोनल असंतुलन के कारण यह घनत्व कम हो जाता है, जिससे हड्डियाँ कमजोर और भुरभुरी हो जाती हैं।
- कैल्शियम और मिनरल सपोर्ट: सिसस क्वाड्रैंगुलरिस में प्राकृतिक कैल्शियम मौजूद होता है, जो हड्डियों की संरचना को मज़बूत करता है और मिनरल डेंसिटी को बनाए रखता है।
- हड्डियों की मरम्मत को तेज़ करना: इस पौधे में मौजूद केटोस्ट्रोल और अन्य सक्रिय यौगिक हड्डियों के टूटने के बाद उनकी मरम्मत की प्रक्रिया को तेज़ करते हैं।
- ऑस्टियोब्लास्ट्स (नई हड्डी बनाने वाली कोशिकाएँ) को सक्रिय करना: वैज्ञानिक अध्ययनों से पता चला है कि यह पौधा ऑस्टियोब्लास्ट्स की गतिविधि को बढ़ाता है, जिससे नई हड्डियाँ जल्दी बनती हैं।
- हड्डियों में कैल्शियम का अवशोषण सुधारना: यह पौधा विटामिन D3 की तरह कार्य करके शरीर को आहार से प्राप्त कैल्शियम को अवशोषित करने में मदद करता है।
- ऑस्टियोपोरोसिस से बचाव: सिसस क्वाड्रैंगुलरिस का नियमित सेवन ओस्टियोपोरोसिस (हड्डियों का कमजोर होना) को रोकने और उसकी प्रगति को धीमा करने में मदद करता है।
- हार्मोनल संतुलन में मदद: विशेषकर महिलाओं में मेनोपॉज़ के बाद हड्डियों की घनत्व तेजी से घटती है। यह पौधा हार्मोनल संतुलन में सहायता करके हड्डियों की सेहत को बनाए रखता है।
- सूजन और हड्डी के घिसाव को रोकना: हड्डियों और जोड़ो में होने वाली सूजन को कम करके यह हड्डियों को लंबे समय तक स्वस्थ बनाए रखता है।
सिसस क्वाड्रैंगुलरिस के फायदे (अस्थिसंधानक फायदे)
सिसस क्वाड्रैंगुलारिस लेने से हड्डियों की मजबूती और रिकवरी तेज होती है। यह हड्डियों की घनत्व बढ़ाने और पुनर्जनन के लिए उत्तम उपाय है।
- हड्डियों की घनत्व बढ़ाना: यह पौधा हड्डियों में मिनरल्स की मात्रा बढ़ाकर उन्हें मज़बूत करता है और फ्रैक्चर के बाद तेजी से भरने में मदद करता है।
- फ्रैक्चर उपचार में सहायक: “हड़जोड़” नाम से ही पता चलता है कि यह टूटी हड्डियों को जोड़ने में मदद करता है। रिसर्च बताती है कि इसका उपयोग फ्रैक्चर की हीलिंग टाइम को 30–40% तक कम कर सकता है।
- सूजन और दर्द कम करना: सिसस क्वाड्रैंगुलरिस में प्राकृतिक एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जो जोड़ो और हड्डियों में होने वाली सूजन को कम करते हैं और दर्द से राहत देते हैं।
- जोड़ो की लचीलापन बढ़ाना: यह पौधा जोड़ो की कठोरता (stiffness) को कम करता है और उनकी लचीलापन (flexibility) को बढ़ाता है।
- ऑस्टियोपोरोसिस से सुरक्षा: बढ़ती उम्र या कैल्शियम की कमी से होने वाले ऑस्टियोपोरोसिस को रोकने में मदद करता है।
- एथलीट्स और फिटनेस प्रेमियों के लिए फायदेमंद: कठिन वर्कआउट या चोट के बाद मांसपेशियों और हड्डियों की रिकवरी में सहायक है।
- पाचन और सामान्य स्वास्थ्य में सहायक: आयुर्वेद में इसका उपयोग पाचन सुधारने और शरीर को समग्र रूप से स्वस्थ बनाने के लिए भी किया जाता है।
सिसस क्वाड्रैंगुलरिस आयुर्वेदिक उपयोग
- आयुर्वेदिक चिकित्सक इसे काढ़ा, पाउडर या कैप्सूल के रूप में देते हैं।
- लोक चिकित्सा में इसकी हरी डंठल को पीसकर पेस्ट बनाया जाता है और फ्रैक्चर वाली जगह पर लगाया जाता है।
- यह पौधा हड्डी, जोड़ और सूजन संबंधी रोगों में सदियों से इस्तेमाल होता आ रहा है।
सिसस क्वाड्रैंगुलरिस हड्डी घनत्व शोध
कई आधुनिक अध्ययनों में साबित हुआ है कि सिसस क्वाड्रैंगुलरिस:
- हड्डियों की मिनरल डेंसिटी बढ़ाता है।
- फ्रैक्चर के हीलिंग टाइम को कम करता है।
- ऑस्टियोपोरोसिस के मरीजों में हड्डियों की मजबूती सुधारता है।
हड्डियों के घनत्व के लिए सबसे अच्छा पूरक कौन सा है?
सिसस क्वाड्रैंगुलारिस हड्डियों को मजबूत बनाने, बोन डेंसिटी बढ़ाने, फ्रैक्चर को जल्दी भरने, जोड़ों की सूजन कम करने और हड्डियों को स्वस्थ बनाए रखने में सहायक है।
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FAQ’s (अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न)
1: क्या सिसस क्वाड्रैंगुलरिस सचमुच हड्डियों को जोड़ता है?
हाँ, शोध बताते हैं कि यह फ्रैक्चर के बाद हड्डियों की हीलिंग टाइम को कम करता है।
2: इसे कितने समय तक लेना चाहिए?
सामान्यतः 2–3 महीने तक लेना उचित है, लेकिन डॉक्टर की सलाह ज़रूरी है।
3: क्या यह ऑस्टियोपोरोसिस में फायदेमंद है?
हाँ, यह हड्डियों की घनत्व बढ़ाने और कमजोरी रोकने में सहायक है।
4: क्या यह महिलाओं के लिए सुरक्षित है?
हाँ, लेकिन गर्भावस्था और स्तनपान के दौरान परामर्श ज़रूरी है।
5: क्या इसके कोई साइड इफेक्ट्स हैं?
सामान्य खुराक में यह सुरक्षित है, लेकिन अधिक मात्रा से पेट की परेशानी हो सकती है।
निष्कर्ष
सिसस क्वाड्रैंगुलरिस (हड़जोड़/अस्थिसंधानक) एक अद्भुत आयुर्वेदिक औषधि है जो हड्डियों की घनत्व बढ़ाने, फ्रैक्चर को जल्दी जोड़ने और ऑस्टियोपोरोसिस जैसी बीमारियों से बचाने में बेहद प्रभावी है। यह न सिर्फ हड्डियों को मज़बूती देता है बल्कि जोड़ो की लचीलापन और दर्द राहत में भी मदद करता है।
अगर आप प्राकृतिक रूप से हड्डियों की सेहत बनाए रखना चाहते हैं तो सिसस क्वाड्रैंगुलरिस आधारित सप्लीमेंट्स आपके लिए बेहतरीन विकल्प हो सकते हैं।
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